पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का निधन

केंद्र सरकार ने सात दिन का राजकीय शोक घोषित किया ।इस दौरान आधा झंडा झुका रहेगा।शुकवार को दिल्‍ली सरकार के स्‍कूल, कॉलेज और सरकारी कार्यालय बंद रहेंगे। अटल बिहारी वाजपेयी का पार्थिव शरीर कल जनता दर्शन के लिए दिल्ली में भाजपा कार्यालय में रखा जाएगा।  

नई दिल्‍ली। पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का निधन गुरुवार शाम 5.05 मिनट पर हो गया। वह 93 साल के थे। अटल जी लंबे समय से बीमार चल रहे थे। वाजपेयी को सांस लेने में परेशानी, यूरीन व किडनी में संक्रमण होने के कारण 11 जून को एम्स में भर्ती किया गया था। 15 अगस्‍त को उनकी तबीयत काफी बिगड़ गई थी, जिसके बाद उन्‍हें लाइफ सपोर्ट सिस्टम पर रखा गया।भाजपा के संस्थापकों में शामिल वाजपेयी 3 बार देश के प्रधानमंत्री रहे। वह पहले ऐसे गैर-कांग्रेसी प्रधानमंत्री रहे, जिन्होंने अपना कार्यकाल पूरा किया। उन्हें देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया। उनके निधन पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और लाल कृष्ण आडवाणी समेत कई शीर्ष नेताओं ने गहरा दुख जताया।कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने वाजपेयी के निधन पर शोक जताया और ट्वीट कर अपनी श्रद्धांजलि दी। अटल बिहारी वाजपेयी हिन्दी के कवि, पत्रकार और प्रखर वक्ता भी हैं।भारतीय जनसंघ की स्थापना में भी उनकी अहम भूमिका रही है। वे 1968 से 1973 तक जनसंघ के अध्यक्ष भी रहे.कैबिनेट ने शोक प्रस्ताव पास किया।अटल बिहारी वाजपेयी की अंतिम यात्रा शुक्रवार को सुबह साढ़े 10 बजे शुरू होगी और शाम को पांच उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा। दिल्ली में स्मृति स्थल के पास करीब डेढ़ एकड़ जमीन पर उनका स्मारक बनाया जाएगा।

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